मोहन कैबिनेट में हुए अहम फैसला- विधायकों के नए बनेंगे आवास, सोयाबीन उपार्जन नीति मंजूर
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दैनिक मूक पत्रिका भोपाल। मध्यप्रदेश की मोहन सरकार की कैबिनेट मीटिंग मंगलवार को मंत्रालय में संपन्न हो गई है। मीटिंग के दौरान कई अहम प्रस्तावों पर मुहर लगी है। बैठक में लिए गए फैसलों के संबंध में एमपी के डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल ने जानकारी देते हुए बताया कि अक्टूबर महीने में रीवा में निवेश आएगा। आज सोयाबीन उपार्जन की नीति को मंजूरी दी गई है। विधायकों के आवास के लिए 169.13 करोड़ रुपए स्वीकृति मिल गई है। मंत्रियों के बाद विधानसभा अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और नेता प्रतिपक्ष भी अपना इनकम टैक्स खुद ही जमा करेंगे। डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल के अनुसार, सागर के बाद अब अगली रीजनल इनवेस्टर्स समिट रीवा, नर्मदापुरम और शहडोल आयोजित होगी। अगली समिट के संबंध में जानकारी देते हुए उप मुख्यमंत्री ने कहा- आगामी रीजनल इन्वेस्टर्स समिट 27 सितंबर को सागर में रखी गई है।
उन्होंने आगे बताया कि आज सोयाबीन उपार्जन की नीति को मंजूरी दे दी गई है। सरकार ने इसका समर्थन मूल्य 4892 रुपए तय किया है। वहीं, 25 सितंबर से 20 अक्टूबर तक किसानों का पंजीयन होगा। और 25 अक्टूबर से 31 दिसंबर तक खरीदी होगी। 1400 उपार्जन केंद्र बनाए जाएंगे। एमपी वेयरहाउसिंग से इसके भंडारण सुनिश्चित किया जाएगा। मार्कफेड के द्वारा इसका उपार्जन किया जाएगा। पहली बार प्रदेश में सोयाबीन का उपार्जन होगा। भारत सरकार ने 13.68 मीट्रिक टन उपार्जन की स्वीकृति दे दी है। डिप्टी सीएम के अनुसार, विधायकों के आवास के लिए 169.13 करोड़ रुपए स्वीकृति दी है। पुराने पारिवारिक खंड क्रमांक 1 और शॉपिंग सेंटर को हटाकर 3 बीचके के 204 आवास रहेंगे। 5 ब्लॉक बनाए जाएंगे। पहले चरण में दो ब्लॉक तोड़कर निर्माण होगा। 2615 वर्ग फीट के आवास होंगे। पीडब्ल्यूडी इसका निर्माण करेगा। पहले पेड़ काटकर नई जगह बनाने का प्रस्ताव था। हरियाली उजाड़ने का विरोध हुआ था, जिसके बाद अब जगह बदली जाएगी।